न्यूज़ डेस्क।। टाटा (Tata) ग्रुप अपने नए बिजनेस में 30,000 करोड़ रुपए लगाने की तैयारी में जुटा हुआ है। यह निवेश टाटा डिजिटल , टाटा इलेक्ट्रॉनिक्स, एयर इंडिया, डिफेंस और बैटरी यूनिट में होगा। डिफेंस करोबार की हाल ही में एक रणनीतिक प्राथमकिता के रूप में फिर से पुष्टि हुई है, इससे पाकिस्तान की अब मुश्किलें और बढ़ सकती हैं।
टाटा संस के बोर्ड ने हाल ही में हुई एक बैठक में इस आवंटन को मजूरी दे दी। यह फंडिंग हाल ही के वर्षों में नए व्यवसायों के लिए किए गए 120 बिलियन डॉलर के अतिरिक्त है। एक रिपोर्ट के मुताबिक एक ग्रुप एग्जीक्यूटिव ने कहा कि यह पूंजी निवेश कंपनी की योजना का हिस्सा है। इससे नए व्यापार को अगले स्तर तक ले जाने में मदद मिलेगी। टाटा डिजिटल के नए सीईओ की घोषणा जल्द होगी। एग्जीक्यूटिव ने कहा कि टांटा संस ने पहले ही काफी निवेश कर दिया है। अब आगे के सभी निवेश प्राथमिकता के आधार पर किए जाएंगे। नए व्यवसायों को निवेश पाने के लिए खुद को साबित करना होगा।
माना जा रहा है कि टाटा संस के लिए यह व्यवसाय काफी अहम है। कंपनी का मानना है कि इनका शुरुआती दौर खत्म हो गया है। अब उन्हें तेजी से काम करके लाभ कमाना चाहिए। टाटा इलेक्ट्रॉनिक्स और टाटा डिजिटल पहले ही टॉप 10 ग्रुप व्यवसायों में शामिल हैं। एक एग्जीक्यूटिव ने बताया कि नए व्यवसायों का लक्ष्य है कि वे फाइनेंशियल ईयर 2027 तक राजस्व के मामले में टॉप 5 ग्रुप कंपनियों में शामिल हों और लाभ कमाएं।
ग्रुप के चेयरमैन एन चंद्रशेखरन ने अब नए बिजनेस प्रगति पर कड़ी नजर रखी है। गौर किया जाए तो 2020-24 के दौरान टाटा ग्रुप की कंपनियों ने अच्छी कमाई की। लेकिन FY25 में उनकी रफ्तार धीमी हो गई। राजस्व में वृद्धि 4.9 प्रतिशत गिर गई, जबकि वित्त वर्ष 2024 में यह 12 प्रतिशत थी। शुद्ध लाभ 10.7 प्रतिशत बढ़ा जो पिछले साल 28 प्रतिशत की वृद्धि से काफी कम है। इसी तरह ऑपरेटिंग मार्जिन 10 प्रतिशत पर स्थिर रहा जबकि फाइनेंशियल ईयर 2024 में यह 11 प्रतिशत था।