न्यूज़ डेस्क।। केंद्र सरकार ने बड़ा फैसला लेते हुए 8 वें वेतन आयोग (8th Pay Commission )को मंजूरी दे दी है, जिसका कई सरकारी कर्मचारियों को लाभ मिलने वाला है। 8 वां वेतन आयोग लागू होने के साथ ही यह केंद्रीय कर्मचारी और पेंशनभोगियों की वेतन और पेंशन में संशोधन करेगा। 8 वें वतेन आयोग के अगले साल यानि 1 जनवरी 2026 से लागू होने की उम्मीद की जा रही है। नए वेतन का आयोग का फोकस “फ़िटमेंट फ़ैक्टर” पर रहने वाला है।
कितनी बढ़ जाएगी कर्मचारियों की सैलरी
बता दें कि 7 वें वेतन आयोग ने 2.57 फैक्टर का इस्तेमाल किया था, 8वें आयोग में 2.86 की वृद्धि का प्रस्ताव हो हो सकता है। इससे संभावित रूप से न्यूनतम वेतन 18,000 से बढ़कर 51,480 रूपए तक और पेंशन 9,000 से बढ़कर 25,740 रुपए हो सकती है।8 वां वेतन आयोग सरकारी कर्मचारियों के वेतन ढांचे में अहम बदलाव लाने वाला है। 8वें वेतन आयोग में मूल वेतन समायोजन के साथ-साथ, अन्य भत्ते जैसे मकान किराया भत्ता (HR) और यात्रा भत्ता (TA) को भी स्थान और नौकरी से संबंधित यात्रा के आधार पर संशोधित किया जाएगा।
अनुमानित वेतन संशोधन (2.28 फिटमेंट फैक्टर के आधार पर)
ग्रेड 2000 (स्तर 3): मूल वेतन को संशोधित कर 57,456 रुपये कर दिया गया, जिसमें HRA और TA शामिल हैं, जिससे सकल वेतन 74,845 रुपये हो गया। कटौती के बाद शुद्ध वेतन: 68,849 रुपए होगा।
ग्रेड 4200 (स्तर 6): मूल वेतन 93,708 रुपए संशोधित किया गया, सकल वेतन 1,19,798 रुपये तक पहुंच गया। कटौती के बाद शुद्ध वेतन: लगभग 1,09,977 रुपए होगा।
ग्रेड 5400 (स्तर 9): संशोधित मूल वेतन 1,40,220 रुपए, कुल सकल आय 1,81,073 रुपये। शुद्ध टेक-होम वेतन: लगभग 1,66,401 रुपए होगा।।
ग्रेड 6600 (स्तर 11): संशोधित वेतन 1,84,452 रुपए, सकल आय 2,35,920 रुपये। कटौती के बाद शुद्ध वेतन: 2,16,825 रुपए होगा।।
NPS और CGHS पर भी पडे़गा प्रभाव
बता दें कि 8 वें वेतन आयोग के लागू होने पर सैलरी ही नहीं बढ़ेगी बल्कि राष्ट्रीय पेंशन प्रणाली (NPS) पर भी प्रभाव पड़ेगा। फिलहाल सरकारी कर्मचारी अपने मूल वेतन और महंगाई भत्ते का 10 प्रतिशत एनपीएस में योगदान देते हैं, जबकि 14 प्रतिशत योगदान सरकार देती है। लेकिन वेतन संशोधन के बाद ये अंशदान बढ़ना तय है। केंद्रीय सरकार स्वास्थ्य योजना (सीजीएचएस) के तहत भी शुल्क संशोधित वेतन स्तर पर अपडेट किए जाएंगे।